एक ऐसा ज़िला जहाँ हिन्दू मुस्लिम का अनोखा और बेमिसाल है भाईचारा

नफ़रतें क़दम बढ़ा रही हर तिफ़लों पीरों जवां के साथ मोहब्बत की हवा बहाएंगे हम ऐसी कई शमा के ख़िलाफ़ नफ़रतें बिक़ जाती हैं मोहब्बत के ख़रीददार नही मिलते झूठ के आगे सच के बाज़ार नही दिखते। आज सारे देश में हिन्दू मुस्लिम के बीच एक ऐसी गहरी खाई बना दी है जिसे पाटना बहुत मुश्किल है। ना वो होली की गुझिया रही ना दीवाली की मिठाई ईद की सेंवई पर भी अब होने लगी लड़ाई। जिस तेज़ी से नफ़रत पैर फैला रही है लगता है सारी दुनिया को अपनी ज़द में ले लेगी। इन नफ़रतों से परे उत्तर प्रदेश में एक ऐसा ज़िला है जो हिन्दू मुस्लिम एकता की एक जीती जागती मिसाल है। जी हाँ हम बात कर रहे हैं इल्म ओ अदब के शहर हर मज़हब ओ मिल्लत के मर्कज़ गंगा जमुनी तहज़ीब की धूरी शीराज़ ए हिन्द जौनपुर की जिसके बिना भाईचारे की मिसाल है अधूरी। एक ओर जहां राजनीति ने हिन्दू मुस्लिम के बीच इतनी दूरी बना दी है जिससे ना त्यौहारों की रौनक बची ना पकवानों की लज़्ज़त। पर ये जौनपुर के लिए अपवाद है,जौनपुर में आज भी हिन्दू मुस्लिम भाईचारा उसी तरह क़ायम है। इस्लाम की चौक के इतिहासिक चेहल्लुम का ताज़िया बनाने वाले महशर हुसैन और उनके पुत्र नुसरत अब्बास ने बताया कि ...